टेस्ट क्रिकेट के इतिहास में पहली बार बिना दर्शकों के खेला जायेगा मैच

1877 में पहली बार अंतराष्ट्रीय टेस्ट मैच इंग्लैंड और ऑस्ट्रेलिया के बीच खेला गया था। इस मैच को करीब 143 साल हो गए है। तब से लेकर अब तक क्रिकेट में कई बदलाव हुए , कभी बैट का साइज बदला गया या बॉल के वजन में बदलाव किये गए। कभी खिलाड़ियों को लेकर बदलाव किये गए और कभी क्रिकेट के नियमो में बदलाव हुए।

साल 2020 की शुरुआत में चीन की धरती से उपजे एक छोटे से वायरस ने, जिसको हम कोरोना वायरस के नाम से जानते है, पूरी दुनिया को अपनी चपेट में ले लिया, पूरी दुनिया अस्त-व्यस्त हो गयी। कोरोना वायरस की महामारी ने सभी देशो को अपने यहाँ lockdown करने पर मजबूर कर दिया। सभी काम धंधे थप पड़ गए, सभी आयोजनों पर इसका असर पड़ा। क्रिकेट भी इस बीमारी से अछूता नहीं रहा। सभी तरह का क्रिकेट बंद हो गया।

IPL जैसे बड़े लीग भी कैंसिल करनी पड़ी, आखिरी अंतराष्ट्रीय मैच करीब 117 दिन पहले खेला गया था। आखिरकार महामारी से स्थिति सुधरने के बाद ICC ने क्रिकेट के नियमो में बदलाव करके देशो को मैच खेलने की छूट दे दी है। जिसकी पहल इंग्लैंड और वेस्ट इंडीज के बीच टेस्ट मैच से होगी।

इस मैच की महत्त्वा को देखते हुए , ये मैच कड़ी सावधानियों और कठोर नियमो के साथ खेला जायेगा। सबसे बड़ा नियम ये है की स्टेडियम में किसी भी दर्शक के आने की मनाही है, साथ ही साथ खिलाड़ियों को भी सामाजिक दूरी के नियमों का पालन करना होगा।

खिलाड़ियों के लिए भी बदले नियम  

  • हाथ मिलाकर, हाई फाइव और गले मिलकर विकेट लेने का जश्न नहीं  
  • अपनी कैप, चश्मा, तौलिया और अन्य चीजें अंपायर को नहीं देंगे 
  • गेंद के संपर्क में आने पर नियमित रूप से हाथ साफ करना, आंख, नाक और मुंह न छुए
  • गेंद को चमकाने के लिए लार इस्तेमाल नहीं। अगर दो बार चेतावनी देने के बाद भी लार लगाई जाती है तो पांच अंक की लगेगी पेनाल्टी
  • गेंद को संभालते समय अंपायर को दस्ताने पहनने होंगे
  • मैच के दौरान खिलाड़ी के कोरोना पॉजिटिव पाए जाने पर उसकी जगह सब्सिट्यूट (दूसरा खिलाड़ी) उतारा जाएगा  
  • स्थानीय अंपायर कर सकेंगे अंपायरिंग, टेस्ट में दो की जगह तीन डीआरएस  

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